Mercury Retrograde September 2021: तुला राशि में बुध विराजमान हैं. तुला राशि में शुक्र भी गोचर कर रहे हैं. शुक्र को नवग्रहों में अत्यंत महत्वपूर्ण ग्रह माना गया है. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शुक्र को लग्जरी लाइफ और विदेश आदि का कारक माना गया है. शुक्र के साथ बुध की युति विशेष मानी गई है. तुला राशि में बुध और शुक्र की युति से लक्ष्मी नारायण योग बनता है, जिसे अत्यंत शुभ योगों में से एक माना गया है.
बुध का स्वभाव
मिथुन और कन्या राशि का स्वामी बुध को माना गया है. ज्योतिष शास्त्र में बुध ग्रह को सौम्य ग्रह माना गया गया है. इसे सभी ग्रहों का राजकुमार भी कहा गया है. गणित, तर्क शास्त्र, वाणी, संचार, वाणिज्य, त्वचा, हास्य आदि का कारक बुध को माना गया है. बुध की उच्च राशि कन्या है, जबकि मीन राशि में बुध नीच के माने गए हैं.
बुध का राशि परिवर्तन 2021
22 सितंबर 2021 को कन्या राशि से निकल कर बुध ग्रह का प्रवेश तुला राशि में हुआ था. पंचांग के अनुसार 02 अक्टूबर 2021 को बुध तुला राशि से एक बार फिर कन्या राशि में आ जाएंगे.
वुध वक्री 2021
बुध वर्तमान समय में तुला राशि में वक्री हो चुके हैं. यानि बुध वक्री अवस्था में तुला राशि में गोचर कर रहे हैं. बुध 18 अक्टूबर 2021 तक वक्री रहेंगे. कन्या राशि में वक्री से मार्गी होकर, एक बार बुध फिर तुला राशि में राशि परिवर्तन करेंगे.
राशिफल (Horoscope)
- मिथुन राशिफल (Gemini Horoscope)– बुध वक्री होने से मिथुन राशि वालों को अपनी वाणी और संबंधों के मामले में विशेष सावधानी बरतनी होगी. वाणी दोष की स्थिति न बनने दें. निवेश में जल्दबाजी न करें. मित्रों के साथ संबंध मधुर बनाए रखें.
- कन्या राशिफल (Virgo Horoscope)– बुध का वक्री होने आपके लिए विशेष है. इस दौरान त्वचा संबंधी दिक्कतें होने का खतरा बढ़ सकता है, इसलिए स्वच्छता के नियमों का पालन करें, सेहत के मामले में कोई लापरवाही न बरतें.
- तुला राशिफल (Libra Horoscope)– बिजनेस के मामले में सोच समझ कर निर्णय लें. भ्रम और तनाव की स्थिति में पूंजी का निवेश सोच समझ कर करें. वाद विवाद की स्थिति से भी बचें. खाना पान और जीवनशैली पर विशेष ध्यान दें. आलस का त्याग करें.
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