स्नोडेन ने ट्वीट किया, “मार्केट में इन्वेस्ट करने से पहले ध्यान रखें कि आपको डॉग मनी की बजाए डॉग मनी का क्लोन तो नहीं बेचा गया है।” उसी ट्वीट के बाद एक रिप्लाई में स्नोडेन ने रीटेल इन्वेस्टर्स के द्वारा अपने खेत गिरवी रखने की चिंता को जाहिर किया। “समस्या यह है कि जब मीम जितनी समझदारी के आधार पर उनको अपने खेत गिरवी रखने के लिए इमोशनली मेनिपुलेट किया जाता है।”
i say this with love:
if you got talked into exchanging your hard-earned savings for some new dog money because a meme said you’d get rich, please carefully consider your odds of outsmarting a market that sold to you its stake in *not even dog money but a CLONE of dog money*
— Edward Snowden (@Snowden) October 31, 2021
हालांकि स्नोडेन ने एक बार भी स्पष्ट रूप से शीबा इनु (SHIB) का उल्लेख नहीं किया है। मगर SHIB फैन्स स्नोडेन से लड़ने के लिए सबसे तेजी से आगे आए। स्नोडेन का ये कमेंट ऐसे समय में आया है जब इस मीम कॉइन की पॉपुलेरिटी आसमान छू रही है।
पिछले सप्ताह की शुरुआत में शीबा इनु की कीमत में 826 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि हुई, जो 38.5 अरब डॉलर (लगभग 2,89,154 करोड़ रुपये) के मार्केट कैपिटलाइजेशन को पार कर गया। शुक्रवार तक इस डॉजकॉइन-प्रतिद्वंद्वी ने मार्केट कैपिटलाइजेशन के मामले में 9वीं सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी बनने के लिए वैल्यूएशन में DOGE से आगे निकलने के लिए रैली की थी।
ट्वीट के कमेंट्स में स्नोडेन की आलोचना करने वालों ने SHIB पर संदेह करने वालों के लिए उस इकोसिस्टम की ओर इशारा करने की कोशिश की जिसमें मीम टोकन का विस्तार हुआ है। इसमें Shiboshi NFT और ShibaSwap शामिल हैं, जो शीबा इनु का अपना डीसेंट्रेलाइज्ड क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज है, और जल्द ही एक लेयर-2 प्रोटोकॉल का प्रस्तावित लॉन्च है।
कई एक्सपर्ट्स का तर्क है कि रैली टिकाऊ नहीं हो सकती है। उन्होंने कॉइन के बड़े पैमाने पर वैल्यूएशन के कारण बड़ी फूल थ्योरी (fool theory) की ओर इशारा किया। मगर दूसरी तरफ, SHIB का मार्केट कैपिटलाइजेशन ऐसा है कि यह मीम कॉइन वर्तमान में भारत के प्रमुख कंपनी समूहों से भी बड़ा है।
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