जम्मू और कश्मीर के कुछ प्रसिद्ध मंदिरो के बारे में जाने यहां
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जम्मू और कश्मीर के कुछ प्रसिद्ध मंदिरो के बारे में जाने यहां
दुनिया में यदि कही स्वर्ग है तो वह भारत का कश्मीर है। कश्मीर हमेशा से ही प्रसिद्ध रहा है। कश्मीर की प्राकृतिक सुंदरता के कारण, हिंदू धर्म के लोगों की आस्था के प्रमुख केंद्रों के कारण कश्मीर काफी प्रसिद्ध है। वही बात करें राजनीति की तो राजनीति मे भी कश्मीर का मुद्दा काफ़ी प्रमुख रहा है। आज हम आपको इसी कश्मीर से जुड़ी कुछ जानकारी देंगे। जैसे कि यहाँ पर कौन कौन से प्रमुख मंदिर स्थित है उनके बारे में बताएंगे।
कश्मीर ऋषि कश्यप की तपोभूमि थी। उन्हीं के नाम पर इस स्थान का नाम कश्मीर पड़ा था। यहाँ पर स्थित दो बड़े हिंदुओं के आस्था के केंद्र अमरनाथ की गुफा और वैष्णो देवी के मंदिर के बारे में सभी जानते हैं परंतु यहाँ कई ऐसे मंदिर भी है जो अब खंडहर में तब्दील हो चूके हैं जैसे की मार्तंड मंदिर, वही कुछ मंदिर ऐसे भी हैं जो पाक अधिकृत कश्मीर में चले गए हैं जिसके कारण उनका अस्तित्व अब खत्म हो चुका है जैसे कि शिव मंदिर और शारदा देवी मंदिर।
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अमरनाथ की गुफा भगवान शिव के भक्तों के लिए अति प्रिय है। भगवान शिव के भक्त यहाँ दर्शन करने दूर दूर से ऊंची चढ़ाई चढ़कर आते है। इस गुफा में बनने वाली शिवलिंग अपने आप में अद्भुत है। यह शिवलिंग बर्फ से बनती है और गर्मियों मे यह श्रद्धालुओं के लिए दर्शन के लिए खोली जाती है। इतनी गर्मी में तो सामान्यतः बर्फ़ पिघल जाती है परंतु यह भगवान शिव का ही चमत्कार है कि शिवलिंग बर्फ़ से बनी होने के बाद भी नहीं पिघलती है और भक्त इसके दर्शन करते हैं। अमरनाथ की गुफा से जुड़ी पौराणिक कथा भी मीलती है। कहते है यह वही स्थान है जहाँ पर भगवान शिव ने माता पार्वती को अमर होने की कथा सुनाई थी अमरनाथ की यात्रा आषाण पूर्णिमा से आरंभ होकर रक्षा बंधन वाले दिन पूर्ण होती है। यह यात्रा पूरे सावन के महीने चलती है। इसमें दो कबूतर भी मिलते हैं जो भगवान शिव की अमरकथा सुन रहे थे और वह अमर हो गए थे।
अमरनाथ की गुफा मे महामाया शक्तिपीठ है जो कि देवी के 51 शक्तिपीठों में से एक है। यह वह स्थान है जहां पर देवी सती का कंठ गिरा था। इस शक्तिपीठ में भगवान शिव के अतिरिक्त दो हिमलिंग बनते हैं जो कि माता पार्वती और भगवान श्री गणेश का प्रतीक माने जाते हैं। साथ ही यहाँ पर बाबा भैरव की त्रिसंध्येकश्वहर भगवान के रूप में पूजा होती है। इस शक्तिपीठ में भगवती के अंग और उनके आभूषणों की पूरी विधि विधान के साथ पूजा की जाती है।
वैष्णो देवी माँ का मंदिर जम्मू के कटरा शहर के त्रिकूट पर्वत पर स्थित है। इस मंदिर मे देवी सरस्वती, माता लक्ष्मी और महाकाली माता की पिंडी रूप में पूजा की जाती है। माता वैष्णो देवी लोगो का घमंड चूर कर देती है यह बात पौराणिक कथाओं से पता चलती है। पौराणिक कथा के अनुसार एक बार अकबर ने देवी के भक्तो का मजाक उड़ाया था और माता की शक्ति पर शंका की थी। वह घमंड के साथ देवी के दरबार मे सोने का छत्र लेकर आया था। उस समय देवी ने अपने भक्तों की आस्था और भक्ति का मान रखने और अकबर का घमंड चूर करने के लिए उसके द्वारा लाये गए सोने के छत्र को एक ऐसी धातु में परिवर्तित कर दिया था जिसके बारे में कोई नही जान पाया कि वह कौन सी धातु है। यह चमत्कार देख अकबर का घमंड चूर हो गया और उसने देवी से और उनके भक्तों से क्षमा मांगी थी।
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जम्मू और कश्मीर में रघुनाथ मंदिर काफी प्रसिद्ध है। यह मंदिर महाराजा गुलाब सिंह द्वारा 1835 में बनवाना आरंभ किया गया था। यह मंदिर उनके पुत्र महाराजा रणवीर सिंह के समय में बनकर पूरा हुआ था। इस मंदिर को सोने की पत्तियों और चद्दरों से सुसज्जित किया गया है। साथ ही इस मंदिर में देवी देवताओं की कलात्मक मूर्तियां भी है।
जम्मू और कश्मीर में एक ऐसा प्रसिद्ध मंदिर है जिसके आगे सारी इमारतें छोटी है। जम्मू में यह मंदिर महाराजा रणवीर सिंह द्वारा बनवाया गया था। यह मंदिर भगवान शिव को समर्पित है। इसे रणवीरेश्वर मंदिर के नाम से जाना जाता है। यह मंदिर पत्थर की पट्टी पर बने शिवलिंगों के कारण प्रसिद्ध है।
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