Benefits of Bhujangasana: आज हम आपके लिए भुजंगासन के फायदे लेकर आए हैं. इसे कोबरा पोज भी कहा जाता है, जो योग, रीढ़ की हड्डी को सीधी और लचीली बनाने के साथ फेफड़ों को खोलने में मददगार है. इसके अलावा इस योग के अभ्यास को मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाए रखने में भी फायदेमंद माना जाता है. योग विशेषज्ञों के मुताबिक भुजंगासन का रोजाना अभ्यास संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए लाभदायक हो सकता है.
भुजंगासन क्या है (what is bhujangasana)
भुजंगासन दो शब्दों भुजंग और आसन से मिलकर बना है. अंग्रेजी में इस आसन को कोबरा पोज़ कहते हैं. इस योग में सांप की तरह अपने धड़ को आगे की दिशा में उठाकर रखना होता है. अगर आपको पेट संबंधी कोई भी समस्या है, तो रोज़ाना भुजंगासन करें.
भुजंगासन करने का तरीका (how to do bhujangasana)
- समतल और स्वच्छ जमीन पर दरी बिछाकर पेट के बल लेट जाएं और थोड़ी देर आराम करें.
- इसके बाद पुश अप मुद्रा में आकर शरीर के अगले हिस्से को उठाएं.
- इस आसान को अपने धड़ को आगे की दिशा में उठाकर रखना होता है.
- इस मुद्रा में अपनी शारीरिक क्षमता अनुसार रहें.
- फिर पहली अवस्था में आ जाएं. इसे रोजाना दस बार जरूर करें.
भुजंगासन के जबरदस्त फायदे (Amazing benefits of Bhujangasana)
- इससे मांसपेशियां मजबूत होती हैं.
- कंधों और बाहों को मजबूती प्रदान होता है.
- शरीर में लचीलापन बढ़ता है.
- तनाव और थकान को दूर करता है.
- भुजंगासन से हृदय स्वस्थ रहता है.
- अस्थमा के लक्षणों में आराम मिलता है.
- बेडौल कमर को पतली-सुडौल व आकर्षक बनाता है.
- इसे रोज़ाना करने से लंबाई बढ़ती है.
- पीठ दर्द से आराम मिलता है.
भुजंगासन के दौरान रखें ये सावधानियां
- हर्निया से पीड़ित व्यक्ति इस आसन को ना करें.
- पेट दर्द होने पर यह आसन ना करें.
- गर्भवती महिलाएं इस आसन को बिल्कुल ना करें.
- हाथ, पीठ और गर्दन में दर्द या चोट है तो इसे न करें.
- आसन करते समय अपने सर को पीछे की ओर ज्यादा ना झुकाएं वरना मांसपेशियों में खिंचाव आ सकता है.
यहां दी गई जानकारी किसी भी चिकित्सीय सलाह का विकल्प नही है. यह सिर्फ आपको शिक्षित करने के लिए दी गई है.
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