हैदरपोरा एनकाउंटर को लेकर जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला धरने पर बैठ गए हैं। दरअसल, वे एनकाउंटर में मारे गए लोगों की शव परिजनों को सौंपने की मांग कर रहे हैं।
नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के हैदरपोरा में हुए एनकाउंटर को लेकर विपक्ष सरकार पर हमलावर है। वहीं अब जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला धरने पर बैठ गए हैं। उनका मांग है कि हमले में मारे गए आम नागरिकों के शव उनके परिजनों को सौंप दिए जाएं। उनका कहना है कि हत्या के तीन दिन बाद भी मृतकों का शव परिजनों को नहीं सौंपा गया है। सरकार मामले की जांच करवाती रहे, लेकिन परिजनों से अपने बच्चों का अंतिम संस्कार करने का हक छीनना सही नहीं है।
अपना गुस्सा जाहिर करने बैठा हूं
उमर अब्दुल्ला का कहना है कि मैं बीते तीन दिनों से शवों को परिजनों को सौंपने की मांग कर रहा हूं, लेकिन अभी तक प्रशासन ने कोई कदम नहीं उठाया है। इसके चलते मजबूर होकर आज मुझे यह विरोध प्रदर्शन करना पड़ रहा है। मैं आज यहां अपना गुस्सा और लाचारी व्यक्त करने के लिए बैठा हूं।
महबूबा मुफ्ती को किया गया नजरबंद
उमर अब्दुल्ला ने बताया कि हत्या के तीन दिन बाद भी प्रशासन ने मृतकों के शवों परिवारों को नहीं लौटाए जा रहे हैं। लेकिन मुझे इसको लेकर विरोध करने तक नहीं दिया जा रहा है। बता दें कि हैदरपोरा एनकाउंटर के बाद महबूबा मुफ्ती ने सवाल उठाए थे। इसके बाद कल उन्हें उनके आवास में अगले आदेश तक के लिए नजरबंद कर दिया गया है।
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हाल ही में हैदरपोरा में हुए एक एनकाउंटर में सुरक्षाबलों ने चार लोगों की मार गिराया गया था। कश्मीर पुलिस ने बताया कि इनमें से दो आतंकी थे जबकि दो अन्य आतंकियों के साथी थे। वहीं परिजनों का कहना है कि उनके बच्चे आतंकी नहीं थे, इस एनकाउंटर के दौरान उनकी हत्या कर दी गई है। इसके बाद से विपक्ष केंद्र सरकार पर हमलावर है और मामले की जांच की मांग कर रहा है।