Fake Loan App: पिछले साल कोरोना काल की वजह से हुए लॉकडाउन, जॉब से छंटनी और सैलरी कट ने लोगों के सामने आर्थिक संकट ला दिया था. इसका फायदा उठाते हुए कई चीनी कंपनियों और भारतीय कंपनियों ने इंडिया में फर्जी तरीके से लोन देने का जाल बिछाना शुरू कर दिया था. इस जाल में हजारों लोग फंसे. ऐप की रिकवरी से परेशान होकर कई लोगों ने अपनी जान भी दी. मामला बढ़ा तो आरबीआई और गूगल की सख्ती से प्लेट स्टोर से ऐसे फर्जी ऐप काफी हद तक हटाए गए, लेकिन एक बार फिर फर्जी लोन ऐप का मकड़जाल बिछने लगा है. आरबीआई के अनुसार, भारत में इस समय करीब 600 फर्जी लोन ऐप चल रहे हैं. हम आपको बताएंगे आखिर कैसे आप बच सकते हैं इनके जाल से.
लगातार मिल रहीं शिकायतें
डिजिटल लैंडिंग पर रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) की वर्किंग ग्रुप की ओर से जो रिपोर्ट दी गई है. उसमें बताया गया है कि भारत में मोबाइल ऐप और वेबसाइट के जरिए फर्जी तरीके से लोन देने का सिलसिला फिर शुरू हो गया है. इस समय करीब 600 अवैध लोन ऐप मौजूद हैं. कई लोन ऐप APK के जरिए ऑपरेट हो रहे हैं. आरबीआई के मुताबिक इस तरह के 1100 से अधिक ऐप अलग-अलग प्लेटफॉर्म पर मिल जाएंगे. इन ऐप को Loan, Instant Loan और Quick loan कीवर्ड के जरिए ढूंढा जा सकता है. आरबीआई की वर्किंग कमिटी ने रिपोर्ट में बताया है कि इस तरह के ऐप को लेकर जनवरी 2020 से लेकर मार्च 2021 तक के बीच में 2562 शिकायतें मिली हैं.
किस तरह फंसाते हैं जाल में
इस तरह के ऐप आपको 5 से 7 मिनट में सिर्फ आधार कार्ड व पैन कार्ड से ही लोन ऑफर करते हैं. एक बार जब आप अपने डॉक्युमेंट्स को इनके ऐप पर अपलोड कर देते हैं, तो ये आपको 7 दिन के लिए 3000 से 5000 रुपये तक का लोन ऑफर करते हैं. आप जैसे ही आगे बढ़ेंगे तो प्रोसेसिंग फीस व अन्य चार्ज के नाम पर ये करीब 1000 से 1500 रुपये काट लेते हैं. 7 दिन बाद आपको पूरी रकम का भुगतान करना होता है. इस तरह के ऐप पर भुगतान के दौरान ऐरर आ जाता है. आपके खाते से पैसे कट जाते हैं, लेकिन ऐप पर पेमेंट ड्यू बताता है. क्योंकि ये अवैध तरीके से चलते हैं, इसलिए इनका कोई क्स्टमर केयर नंबर नहीं होता और आप चाहकर भी अपनी शिकायत कहीं दर्ज नहीं करा पाते. वहीं दूसरी तरफ ये ऐप आप पर रोजाना 100 से 150 रुपये की पेनल्टी लगाते हैं. टॉर्चर का सिलसिला यहीं नहीं रुकता. रिकवरी के लिए ये लोग आपके रिश्तेदारों व दोस्तों को भी कॉल करके तंग करते हैं. उन्हें आपकी फोटो भेजकर आपको फ्रॉड बताते हैं. झंझट से बचने के लिए अधिकतर लोग पेमेंट कर देते हैं.
इन बातों का रखें ध्यान
- कोशिश करें कि आपको ऐप से लोन लेने की जरूरत न पड़े. क्योंकि अधिकतर ऐप की रिकवरी का प्रोसेस खराब ही होता है. ये लोग आपके कॉन्टैक्ट को परेशान करते हैं.
- अगर लोन लेना जरूरी है तो उस ऐप को लेकर चेक करें कि वह कंपनी आरबीआई से वित्तिय लेनदेन के लिए मान्य है या नहीं. बिना मान्यता वाली कंपनी से लोन किसी भी कीमत पर न लें.
- कुछ ऐप एनबीएफसी से टाइअप करके लोन देती हैं. इस तरह के ऐप से भी अगर लोन ले रहे हैं, तो उस कंपनी की सारी जानकारी जुटा लें.
- गूगल प्लेस्टोर से ऐप डाउनलोड करते वक्त उसका रिव्यू जरूर पढ़ें, दूसरे फंसे हुए यूजर्स का रिव्यू पढ़कर आप सेफ रह सकते हैं.
- किसी भी ऐप को अपने मेसेज सीन, कॉन्टैक्ट एक्सेस व मीडिया का एक्सेस न दें.
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