मेघायल के राज्यपाल सत्यपाल मलिक का कहना है कि किसान आंदोलन के चलते सरकार को आगामी चुनाव में काफी नुकसान होगा। ऐसे में सरकार को मसले का हल निकालने के लिए किसानों से बात करनी चाहिए।
नई दिल्ली। किसान आंदोलन को लेकर मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक काफी समय से केंद्र सरकार पर हमलावर हैं। अब उन्होंने इस आंदोलन को लेकर सरकार को एक सलाह दी है। सत्यपाल मलिक का कहना है कि कृषि कानूनों के विरोध में किसान बीते एक साल से सड़कों पर हैं। इतना समय बीत जाने के बाद भी सरकार इस मसले का कोई हल नहीं निकाल सकी। अगर सरकार किसान आंदोलन को लेकर गंभीर नहीं है तो बता दूं कि यह आंदोलन यूपी चुनाव के साथ 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव को भी प्रभावित करेगा।
खाली हाथ नहीं लौटेंगे किसान
मेघायल के राज्यपाल का कहना है कि किसान आंदोलन के चलते अब तक 700 से अधिक लोगों की मौत हो गई, लेकिन सरकार की ओर से न ही इन मौतों पर कोई संवेदना जताई गई और न ही उनके परिवारों को कोई आर्थिक मदद मिली। अब हालात यह है कि किसानों और सरकार के बीच हर तरह की बात बंद हो गई है। अगर सरकार सोच रही है कि किसान यहां तक आकर खाली हाथ वापस लौट जाएंगे तो आप गलतफहमी में हैं।
मुझे पीएम से उम्मीद है
एक कार्यक्रम में दौरान उन्होंने केंद्र सरकार को सलाह दी कि भलाई इसी में है किसानों से बात की जाए। बिना बात-चीत के इस मुद्दे का कोई हल नहीं निकल सकता। इस दौरान उन्होंने वियतनाम का उदाहरण दिया, सत्यपाल मलिक ने कहा कि जिस समय वियतनाम में बमबारी हो रही थी उस समय भी पेरिस में बातचीत चल रही थी। लड़ाई अपनी जगह है और बातचीत अपनी जगह, मुझे उम्मीद है कि प्रधानमंत्री ने जिस तरह से गुजरात के किसानों के लिए काम किया है शायद अभी भी कुछ हो जाए।
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इस दौरान उन्होंने केंद्र के प्रति अपने रवैये पर भी बात की। उन्होंने कहा कि मेरी बातों को मोदी सरकार के खिलाफ मत मानिए मैं मोदी सरकार के खिलाफ नहीं बोलता बल्कि मैं सरकार के हित की बात करता हूं। उन्होंने कहा कि बीजेपी राजस्थान में उपचुनाव हार गई है और अगर यही स्थिति बनी रही तो भविष्य में हालात और भी कठिन हो हो जाएंगे यह बात उन्हें नहीं भूलनी चाहिए। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि बातचीत से हर मुद्दे का हल निकाला जा सकता है, इसके लिए सरकार को पहल करनी चाहिए।